धर्म और दर्शन पर GK MCQs – प्राचीन भारतीय इतिहास

धर्म और दर्शन पर GK MCQs – प्राचीन भारतीय इतिहास

प्राचीन भारतीय इतिहास में धर्म और दर्शन ने भारतीय समाज, संस्कृति और राजनीति को गहराई से प्रभावित किया। वेद, उपनिषद, बौद्ध धर्म, जैन धर्म और अन्य दार्शनिक प्रणालियों ने न केवल धार्मिक विश्वासों को आकार दिया, बल्कि सामाजिक सुधारों और नैतिक मूल्यों को भी बढ़ावा दिया। इस सेक्शन में हम आपको धर्म और दर्शन पर GK MCQs प्रदान कर रहे हैं, जो UPSC, SSC, बैंकिंग, रेलवे, और अन्य राज्यस्तरीय प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी के लिए अत्यंत उपयोगी हैं।

Q11. बौद्ध धर्म में ‘निर्वाण’ का क्या अर्थ है?
a) ज्ञान प्राप्ति
b) मोक्ष
c) तपस्या
d) ध्यान

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Correct Answer: b) मोक्ष
Explanation: बौद्ध धर्म में ‘निर्वाण’ का अर्थ मोक्ष है। यह आत्मा की अंतिम मुक्ति और सभी दुखों से मुक्त होने की अवस्था है। निर्वाण प्राप्ति के बाद आत्मा अनंत शांति और आनंद में स्थित होती है।

Q12. जैन धर्म के अनुसार ‘अहिंसा’ का क्या महत्व है?
a) सत्य बोलना
b) हिंसा न करना
c) संपत्ति न रखना
d) संयम

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Correct Answer: b) हिंसा न करना
Explanation: जैन धर्म के अनुसार ‘अहिंसा’ का महत्व हिंसा न करना है। यह जैन धर्म का प्रमुख सिद्धांत है और इसके अनुसार किसी भी जीव को हानि नहीं पहुंचानी चाहिए। अहिंसा का पालन सभी जैन अनुयायियों के लिए अनिवार्य है।

Q13. बौद्ध धर्म के अनुसार ‘धम्म’ का क्या अर्थ है?
a) धर्म
b) सत्य
c) अहिंसा
d) संयम

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Correct Answer: a) धर्म
Explanation: बौद्ध धर्म के अनुसार ‘धम्म’ का अर्थ धर्म है। यह बौद्ध धर्म के त्रिरत्नों में से एक है और इसमें बुद्ध की शिक्षाओं और सिद्धांतों का पालन करना शामिल है।

Q14. जैन धर्म के अनुसार ‘अपरिग्रह’ का क्या अर्थ है?
a) सत्य बोलना
b) हिंसा न करना
c) संपत्ति न रखना
d) संयम

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Correct Answer: c) संपत्ति न रखना
Explanation: जैन धर्म के अनुसार ‘अपरिग्रह’ का अर्थ संपत्ति न रखना है। यह जैन धर्म का एक प्रमुख सिद्धांत है और इसके अनुसार व्यक्ति को भौतिक वस्तुओं का संग्रह नहीं करना चाहिए। अपरिग्रह का पालन सभी जैन अनुयायियों के लिए अनिवार्य है।

Q15. बौद्ध धर्म के अनुसार ‘सम्यक दृष्टि’ का क्या अर्थ है?
a) सही दृष्टिकोण
b) सही संकल्प
c) सही वाणी
d) सही कर्म

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Correct Answer: a) सही दृष्टिकोण
Explanation: बौद्ध धर्म के अनुसार ‘सम्यक दृष्टि’ का अर्थ सही दृष्टिकोण है। यह अष्टांगिक मार्ग का पहला अंग है और इसमें जीवन की वास्तविकता को सही ढंग से समझना शामिल है।

Q16. जैन धर्म के अनुसार ‘सत्य’ का क्या महत्व है?
a) हिंसा न करना
b) सच बोलना
c) संपत्ति न रखना
d) संयम

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Correct Answer: b) सच बोलना
Explanation: जैन धर्म के अनुसार ‘सत्य’ का महत्व सच बोलना है। यह जैन धर्म का एक प्रमुख सिद्धांत है और इसके अनुसार व्यक्ति को हमेशा सत्य बोलना चाहिए। सत्य का पालन सभी जैन अनुयायियों के लिए अनिवार्य है।

Q17. बौद्ध धर्म के अनुसार ‘सम्यक संकल्प’ का क्या अर्थ है?
a) सही दृष्टिकोण
b) सही संकल्प
c) सही वाणी
d) सही कर्म

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Correct Answer: b) सही संकल्प
Explanation: बौद्ध धर्म के अनुसार ‘सम्यक संकल्प’ का अर्थ सही संकल्प है। यह अष्टांगिक मार्ग का दूसरा अंग है और इसमें सही सोच और सही इरादे शामिल हैं।

Q18. जैन धर्म के अनुसार ‘अस्तेय’ का क्या अर्थ है?
a) हिंसा न करना
b) सच बोलना
c) चोरी न करना
d) संयम

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Correct Answer: c) चोरी न करना
Explanation: जैन धर्म के अनुसार ‘अस्तेय’ का अर्थ चोरी न करना है। इसका मतलब है कि किसी वस्तु को तब तक ग्रहण न करना जब तक वह आपको स्वेच्छा से न दी जाए। यह केवल भौतिक संपत्ति तक सीमित नहीं है, बल्कि किसी के विचारों या अधिकारों को छीनना भी इसमें शामिल है.

Q19. बौद्ध धर्म के अनुसार ‘सम्यक वाणी’ का क्या अर्थ है?
a) सही दृष्टिकोण
b) सही संकल्प
c) सही वाणी
d) सही कर्म

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Correct Answer: c) सही वाणी
Explanation: बौद्ध धर्म के अनुसार ‘सम्यक वाणी’ का अर्थ सही वाणी है। यह अष्टांगिक मार्ग का तीसरा अंग है और इसमें सही और सत्य बोलना शामिल है। सही वाणी का पालन करने से व्यक्ति के जीवन में शांति और सामंजस्य बना रहता है।

Q20. जैन धर्म के अनुसार ‘ब्रह्मचर्य’ का क्या अर्थ है?
a) हिंसा न करना
b) सच बोलना
c) संयम
d) संपत्ति न रखना

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Correct Answer: c) संयम
Explanation: जैन धर्म के अनुसार ‘ब्रह्मचर्य’ का अर्थ संयम है। यह जैन धर्म का एक प्रमुख सिद्धांत है और इसके अनुसार व्यक्ति को अपने इंद्रियों और इच्छाओं पर संयम रखना चाहिए। ब्रह्मचर्य का पालन सभी जैन अनुयायियों के लिए अनिवार्य है।

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